My job alarm

success story : 20 हजार रुपये से शुरू किया था यह काम, बना डाली हजारों करोड़ की कंपनी

success story Of Vandana Luthran : जीवन में कई बार कठिन परिस्थितियों से होकर गुजरना पड़ता है। ऐसे समय में असफलता से घबराना नहीं चाहिए, क्योंकि क्या पता ये किसी बड़ी सफलता की सीढ़ी की कहानी है। आज हम आपको इस खबर के माध्यम से एक ऐसे उद्यमी की कहानी के बारे में बताने वाले हैं जिसने अपनी कड़ी मेहनत और दूरदर्शिता से कुछ ही सालों में एक छोटे से निवेश को एक विशाल साम्राज्य में बदल(Vandana Luthran ki success ki kahani) दिया। इनकी कहानी हमारे लिए काफी प्रेरणादायक साबित होगी।
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success story : 20 हजार रुपये से शुरू किया था यह काम, बना डाली हजारों करोड़ की कंपनी

My job alarm - (Success story in hindi) कभी-कभी व्यक्ति की छोटी-सी शुरूआत ही उसको बड़ी ऊचांइयों तक पहुंचाती हैं। एक छोटी सी शुरुआत बड़े बदलाव की ओर इशारा करती है। हम आपको इस खबर के माध्यम से यही बताना चाहते हैं कि असली सफलता किसी के पास आने वाली शुरुआत पर निर्भर (success story of Vandana Luthran ) नहीं होती, बल्कि उस रास्ते पर चलने की कोशिश, जुनून और सही दिशा पर निर्भर होती है। ऐसे ही कुछ कर दिखाया है वंदना लूथरा ने। जिन्होंने महज 20 हजार रुपये से शुरुआत करके आज करोड़ों की कंपनी बना डाली है।


वंदना लूथरा के आत्मविश्चवास की कहानी - 


वंदना लूथरा की(Vandana Luthran ki safalta ki kahani) कहानी हमारे लिए काफी प्रेरणादायक होने वाली है। इनकी कहानी से हमे यह पता चलेगी कि आत्मविश्वास और दृढ़ संकल्प के साथ किसी भी मुश्किल को पार किया जा सकता है। वंदना लूथरा ने 1989 में केवल 20 हजार की शुरुआत से VLCC (Vandana Luthra's Curves and Curves) की स्थापना की, जो आज एक अंतरराष्ट्रीय ब्रांड बन चुका है। इस यात्रा में उन्होंने न केवल वेलनेस उद्योग को नए दृष्टिकोण से देखा, बल्कि इसे एक वैज्ञानिक और क्लिनिकल दृष्टिकोण से पेश किया। आज VLCC का मार्केट कैप 4500 करोड़ से अधिक है और इसके 144 शहरों में सेंटर हैं।


वंदना लूथरा का पारिवारिक परिवेश - 


वंदना के जीवन में उनका बचपन और पारिवारिक परिवेश बहुत मायने रखता है। उनकी मां एक चैरिटेबल आयुर्वेदिक संस्था चलाती(Vandana Luthra ki success story) थीं, जो समाज के गरीब और जरूरतमंद लोगों की मदद करती थी। इस कार्य ने वंदना को हमेशा प्रेरित किया कि वे भी किसी तरह लोगों के जीवन में बदलाव लाने का काम करें। उन्हें महसूस हुआ कि भारत में न्यूट्रिशन और कॉस्मेटोलॉजी के बारे में काफी जानकारी की कमी है, जिसे दूर करना चाहिए। यही सोच उन्हें जर्मनी में इस क्षेत्र में शिक्षा प्राप्त करने के लिए ले गई।


वंदना लूथरा ने किया कई चुनौतियों का सामना- 


वंदना लूथरा की की शुरुआत आसान नहीं थी। जब उन्होंने 20 हजार रुपये से VLCC की नींव रखी, तो उन्हें कई चुनौतियों का सामना करना पड़ा। उस समय समाज में महिलाओं के लिए व्यापार शुरू करना कोई सामान्य बात (Vandana Luthra story ne kaise ki bussiness ki suruwat )नहीं थी। इसके अलावा, उनके पास डॉक्टर्स को अपने साथ लाने में भी कठिनाई हुई। हालांकि, उन्होंने अपने आत्मविश्वास और मेहनत के बल पर इन समस्याओं का समाधान किया और धीरे-धीरे अपना व्यवसाय बढ़ाया।


इस साल में हुआा VLCC का विस्तार - 


2000 के दशक में, VLCC ने तेजी से सफलता प्राप्त करना शुरू किया। 2005 में, जब टेलीविजन शो 'जस्सी जैसी कोई नहीं' में जस्सी का मेकओवर VLCC ने किया, तो इसने कंपनी के ब्रांड को एक नई पहचान दी। इसके बाद, 2009 में कंपनी को शाइन से 14.4 करोड़ रुपये(Vandana Luthra ki safalta ki story) की फंडिंग मिली, जिससे इसकी वैल्यूएशन 125 करोड़ तक पहुंच गई। इसके बाद VLCC का विस्तार भारत के बाहर मध्य-पूर्व, दक्षिण-पूर्व एशिया और अफ्रीका में भी हुआ।

VLCC कंपनी का रेवेन्यू  - 


2010 तक VLCC के 100 सेंटर हो चुके थे, और वंदना ने महिलाओं को ब्यूटी एंटरप्रेन्योर बनने के लिए ट्रेनिंग देने की पहल की। VLCC का नेटवर्क और कारोबार लगातार बढ़ता गया। 2023 तक, इसके 311 सेंटर और 100 ट्रेनिंग संस्थान थे, जो 144 शहरों में (Vandana Luthra ki company kitne sahar mein hai)फैले हुए थे। इस कंपनी ने हर साल 10,000 महिलाओं को प्रशिक्षण दिया, जिसमें से 70 प्रतिशत कर्मचारी महिलाएं थीं। कंपनी का रेवेन्यू 986.8 करोड़ था, और इसका बाजार मूल्यांकन 4500 करोड़ था।


फोर्ब्स एशिया की 50 पावर बिजनेसवुमेन में शामिल हुआ नाम-


वंदना लूथरा की उपलब्धियों को कई पुरस्कारों से भी सम्मानित किया गया है। 2010 में उन्हें 'एंटरप्राइज एशिया वीमेन एंटरप्रेन्योर्स ऑफ द ईयर' (Enterprise Asia Women Entrepreneurs of the Year)पुरस्कार से नवाजा गया, और 2013 में भारत सरकार ने उन्हें 'पदम श्री' (padam shree award)सम्मान प्रदान किया। इसके बाद 2016 में, वह फोर्ब्स एशिया की 50 पावर बिजनेसवुमेन की सूची में शामिल हुईं। इसके अलावा, वह कई अन्य सम्मान और पुरस्कार प्राप्त कर चुकी हैं, जो उनके मेहनत और नेतृत्व क्षमता का प्रतीक हैं।


वंदना लूथरा ने ऐसा पाया सफलता का शिखर -


वंदना लूथरा की कहानी हर उस महिला के लिए प्रेरणा है, जो समाज के धारा के विपरीत जाकर अपने सपनों (Vandana Luthran ne kaise khdi kri crore ki company)को साकार करना चाहती है। उनकी मेहनत, दृष्टिकोण और संघर्ष ने उन्हें सफलता के शिखर तक पहुंचाया, और उन्होंने यह सिद्ध (vandana luthra VLCC ki owner) किया कि अगर किसी के पास आत्मविश्वास और स्पष्ट उद्देश्य हो, तो वह किसी भी क्षेत्र में महान सफलता प्राप्त कर सकता है।

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